World Population Day: 8 अरब हो गई दुनिया की आबादी, कब हुई शुरुआत? क्या है उद्देश्य? क्यों हर साल चेंज होती है थीम..
World Population Day: दुनिया में हर एक दिन का अपना एक खास महत्व होता है, क्योंकि किसी न किसी दिन कोई खास दिवस, त्योहार या अन्य कुछ मनाया जाता है। इन दिनों का हर किसी को इंतजार होता है और हर कोई इन्हें बड़ी ही धूमधाम से मनाता भी है। जैसे 11 जुलाई का दिन पूरी दुनिया के लिए खास जगह रखता है, क्योंकि इस दिन हर साल विश्व जनसंख्या दिवस मनाया जाता है। इस दिन का अपना अलग महत्व और इतिहास है। हर साल इस दिन के लिए एक खास थीम भी रखी जाती है और इसी के हिसाब से इस दिन को मनाया जाता है। ऐसे में आपके लिए ये जानना जरूरी है कि इस साल की थीम क्या है? और इस दिन का इतिहास क्या है? तो चलिए बिना देर किए हम आपको विश्व जनसंख्या दिवस के बारे में काफी कुछ बताने की कोशिश करते हैं।
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कैसे हुई विश्व जनसंख्या दिवस मनाने की शुरुआत
विश्व जनसंख्या दिवस मनाने का सुझाव सबसे पहले डॉक्टर केसी जैक्रियाह ने दिया था। साल 1987 में दुनिया की आबादी 5 अरब पहुंचने के बाद संयुक्त राष्ट्र संघ ने बढ़ती जनसंख्या को लेकर चिंता जाहिर की थी। 1989 में संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम की गवर्निंग काउंसिल (UNDP) ने तय किया कि 11 जुलाई को हर साल विश्व जनसंख्या दिवस मनाया जाएगा और बढ़ती आबादी को लेकर लोगों को जागरुक किया जाएगा। साल 1990 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने विश्व जनसभा दिवस मनाया और साथ ही इसमें विकास के सभी मुद्दों को भी शामिल कराया।
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विश्व जनसंख्या दिवस की इस बार की थीम
विश्व जनसंख्या दिवस की थीम हर साल अलग-अलग होती है। साल 2022 में इसकी थीम है- ‘8 बिलियन की दुनियाः सभी के लिए लचीला भविष्य की ओर, अवसरों का दोहन, सभी के लिए अधिकार और विकल्प सुनिश्चित करना’। जैसा कि थीम से ही स्पष्ट हो रहा है कि दुनिया की आबादी 8 अरब पहुंच गई है। हम सभी को जनसंख्या पर नियंत्रण करना चाहिए। बता दें कि पिछले साल 2021 में विश्व जनसभा दिवस की थीम कोविड-19 महामारी का प्रजनन क्षमता पर प्रभाव थी। कोरोना महामारी के प्रभाव और उससे बचाव को लेकर पिछली बार जनसंख्या दिवस मनाया गया था।
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विश्व जनसंख्या दिवस मनाने का उद्देश्य
विकास की ओर तेजी से भागती दुनिया के कई देशों के लाखों लोगों के पास अभी भी रोजगार नहीं हैं। शिक्षा, स्वास्थ्य और आवास जैसी बुनियादी सुविधाओं की भारी कमी है। जनसंख्या पर लगाम लगाकर लोगों के जीवन स्तर को सुधारा जा सकता है। इसके साथ ही गरीबी, अशिक्षा, नागरिक अधिकार समेत बुनियादी सुविधाओं पर ध्यान दिया जा सकता है। जनसंख्या तेजी से बढ़ने की वजह से गरीबी, बेरोजगारी, भुखमरी और प्रदूषण से होने वाली बीमारियां तेजी से बढ़ रही हैं। जनसंख्या पर लगाम लगाकर लोगों के जीवन स्तर को सुधारा जा सकता है। विश्व जनसभा दिवस पर इस सब चीजों को लेकर लोगों को जागरुक किया जाए इसकी यही मकसद है।
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2057 में 10 अरब के पार होगी
संयुक्त राष्ट्र के नवीनतम अनुमानों के अनुसार जुलाई 2022 तक विश्व की जनसंख्या 7.96 अरब से ज्यादा हो गई है। 2037 में यह 9 अरब का और 2057 तक यह 10 अरब का आंकड़ा पार कर सकती है।
पिछले साल यह थी थीम
विश्व जनसंख्या दिवस 2021 की थीम ‘कोविड-19 महामारी का प्रजनन क्षमता पर प्रभाव’ थी। विश्व जनसंख्या दिवस मनाने की शुरुआत 1989 में संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम की गवर्निंग काउंसिल (UNDP) द्वारा की गई थी।
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