मुख्यमंत्री का बड़ा फैसला, चारधाम यात्रा के लिए दिशानिर्देश जारी। अभी तक 9.5 लाख से अधिक पंजीकरण..
उत्तराखंडः मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बड़ा बयान दिया हैं, उनके अनुसार चार धाम यात्रा के लिए श्रद्धालुओं की भारी आमद के कारण सरकार ने 4 धामों में तीर्थयात्रियों के पंजीकरण में 1,000 यात्रियों की वृद्धि की हैं। पंजीकरण अनिवार्य हैं। सत्यापन के लिए सभी पुलिस चौकियों पर कड़ाई से एवं नियमित रूप से जांच की जाएगी। तीन मई से चार यात्रा शुरू हुई थी। गंगोत्री-यमुनोत्री सहित अब केदारनाथ और बद्रीनाथ के कपाट भी खुल गए हैं। जिससे यात्रा का पूरी तरह से आगाज हो चुका है। यात्री पहले धाम यमुनोत्री से अपनी यात्रा शुरू कर रहे हैं जिसके बाद गंगोत्री-केदारनाथ-बद्रीनाथ के दर्शन कर अपनी यात्रा पूरी कर रहे हैं। सीमांत जनपद उत्तरकाशी में स्थित यमनोत्री और गंगोत्री की तो दोनों धामों में बीते एक सप्ताह से हज़ारों की संख्या में श्रद्धालु पहुचं रहे हैं।
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चारधाम यात्रा के लिए जारी दिशानिर्देश
1- यात्री स्वास्थ्य परीक्षण के उपरांत ही यात्रा के लिए प्रस्थान करें।
2- पूर्व से बीमार व्यक्ति अपने चिकित्सक का परामर्श पर्चा एवं चिकित्सक का संपर्क नंबर अवश्य साथ रखें।
3- अति वृद्ध एवं बीमार व्यक्तियों और पूर्व में कोविड से ग्रसित व्यक्तियों के लिए यात्रा पर नहीं जाना या कुछ समय के लिए स्थगित करना उचित होगा।
4- हृदय रोग, मधुमेह, उच्च रक्तचाप से ग्रस्त रोगी ऊंचाई वाले क्षेत्रों में जाते समय विशेष सावधानी बरतें। उपरोक्त बीमारियों से ग्रस्त व्यक्ति पर्याप्त मात्रा में दवाइयां साथ रखें। चिकित्सक द्वारा लिखी गयी दवाइयों और परामर्श पर्ची यात्रा के दौरान अपने साथ रखें।
5- किसी भी स्वास्थ्य सम्बन्धी जानकारी के लिए 104 हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क करेंगे।
6- एंबुलेंस के लिए 108 हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क करेंगे।
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यात्रा के लिए 9.5 लाख से अधिक पंजीकरण
चारधाम के कपाट खुलने के साथ ही यात्रा ने रफ्तार पकड़ ली है। अब तक यात्रा के लिए साढ़े नौ लाख से अधिक यात्री पंजीकरण करा चुके हैं। इसमें केदारनाथ धाम के लिए पंजीकरण का आंकड़ा 3.35 लाख से अधिक पहुंच गया है। इस बार चारधाम यात्रा को लेकर श्रद्धालुओं में खासा उत्साह है। केदारनाथ, बदरीनाथ, गंगोत्री व यमुनोत्री धाम के लिए अब तक साढ़े नौ लाख से अधिक तीर्थ यात्री पंजीकरण कर चुके हैं। धामों में भक्तों की दोगुनी भीड़ उमड़ रही है। चारधामों में निर्धारित क्षमता से दो से तीन गुणा अधिक यात्री दर्शन के लिए पहुंच रहे हैं। जिससे ठहरने के इंतजाम भी कम पड़ रहे हैं। कई यात्री बिना पंजीकरण और ठहरने की व्यवस्था किए ही धामों में जा रहे हैं। नौ मई तक केदारनाथ धाम के लिए सबसे ज्यादा 335886 यात्रियों ने पंजीकरण कराया है।
31 मई तक पंजीकरण
धाम पंजीकरण संख्या
केदारनाथ 335886
बदरीनाथ 280268
यमुनोत्री 173229
गंगोत्री 176203
भीड़ बढ़ी तो रोके जा सकते हैं बिना पंजीकरण वाले यात्री : डीजीपी
वहीं भीड़ ज्यादा बढ़ने पर बिना पंजीकरण वाले श्रद्धालुओं को पुलिस रोक भी सकती है। ऐसा वहां पर भीड़ नियंत्रण में आ रही समस्याओं को देखते हुए निर्णय लिया गया है। यह समस्या ज्यादातर केदारनाथ धाम में हो रही है। उपरोक्त बातें डीजीपी अशोक कुमार ने कहीं। उन्होंने यहां आने वाले श्रद्धालुओं से अपील भी की कि वह पंजीकरण कराने के बाद ही दर्शनों के लिए आएं। सभी धामों में पंजीकृत और अपंजीकृत दोनों श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। चारों धामों में अभी पंजीकरण चेकिंग की व्यवस्था नहीं है। सरकार ने भी ऐसे कोई निर्देश जारी नहीं किए हैं।
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भीड़ नियंत्रण में पुलिस को परेशानी, केदारनाथ में समस्या
ऐसे में पुलिस को बद्रीनाथ और केदारनाथ धाम में भीड़ नियंत्रण में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। डीजीपी का कहना है कि ज्यादा समस्या केदारनाथ धाम में हो रही है। यदि केवल पंजीकरण कराकर आने वाले श्रद्धालुओं को ही आने दिया जाए तो भीड़ नियंत्रण आसान हो जाएगा। डीजीपी ने बताया कि यदि भीड़ अत्यधिक बढ़ती है, तो पुलिस अपंजीकृत श्रद्धालुओं को केदारनाथ धाम से पहले रोक भी सकती है। ऐसे निर्देश रुद्रप्रयाग पुलिस को दिए गए हैं। एक निश्चित जगह पर बैरियर लगाकर ऐसे श्रद्धालुओं को रोकने की व्यवस्था की जाएगी। बताया कि सभी धामों के आसपास पुलिस के सारे इंतजाम हैं। एसडीआरएफ को भी यात्रा रूट पर 32 जगहों पर तैनात किया गया है।
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चारधाम रूट पर तैनात की जाएंगी एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस
स्वास्थ्य मंत्री डॉ.धन सिंह रावत ने अधिकारियों को उत्तराखंड आने वाले तीर्थयात्रियों को चारधाम मार्गों पर विशेष स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। यात्रा मार्गों पर खासकर उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग, चमोली जिलों में तीर्थ यात्रियों की सुविधा के लिए राज्य में संचालित 108 आपातकालीन एंबुलेंस सेवा के अलावा एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस (एएलएस) तैनात की गई हैं। जो 108 एंबुलेंस सेवा के तहत काम करेंगी। स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि यात्रा मार्गों के चिकित्सा इकाइयों में मेडिकल ऑफिसर, फिजिशियन, ऑर्थोपेडिशियन, फार्मासिस्ट व पैरामेडिकल स्टॉफ की तैनाती कर दी गई है। महानिदेशक स्वास्थ्य को चारधाम यात्रा से संबंधित जिलों के मुख्य चिकित्साधिकारियों से समन्वय स्थापित कर स्वास्थ्य सेवाओं की व्यवस्थाओं की लगातार निगरानी करने के निर्देश दिए गए हैं। मंत्री ने कहा कि चारधाम यात्रा पर आने वाले तीर्थ यात्रियों के लिए बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध हैं। उन्होंने बताया कि यात्रा मार्गों पर एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस (एएलएस) समेत जगह-जगह फर्स्ट मेडिकल रिस्पांस टीम तैनात कर दी गई हैं। यात्रा मार्ग पर आठ ब्लड बैंक व चार ब्लड स्टोरेज यूनिट स्थापित की गई हैं।
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गौचर से लेकर बदरीनाथ धाम तक खोली गई 19 अस्थायी मेडिकल यूनिट
बदरीनाथ, हेमकुंड साहिब व तुंगनाथ आने वाले यात्रियों की सुविधा के लिए तीन एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस और 13 आपातकालीन 108 एंबुलेंस तैनात की गई हैं। गौचर से लेकर बदरीनाथ धाम तक विभिन्न स्थानों पर 19 अस्थायी मेडिकल यूनिट खोली गई हैं, जिनमें चिकित्सक, फार्मासिस्ट, स्टॉफ व वार्ड ब्वॉय सहित चार सदस्य तैनात किए गए हैं। प्रत्येक यूनिट में ईसीजी मशीन, पोर्टेबल ऑक्सीजन सिलिंडर के साथ जरूरी जीवनरक्षक दवाइयां उपलब्ध कराई गई हैं। उन्होंने बताया कि चमोली जिले में कुल 75 डॉक्टर यात्रा रूट पर तैनात किए गए हैं। जबकि उत्तरकाशी जिले में यमुनोत्री व गंगोत्री धाम में यात्रियों के लिए पांच एडवांस लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस व 14 आपातकीलन 108 एंबुलेंस तैनात की गई हैं। डामटा से लेकर यमुनोत्री धाम तक 11 स्थायी व एक अस्थायी चिकित्सा इकाईयां हैं। जिनमें चिकित्सकों, फर्मासिस्टों व वार्डब्वॉय तैनात किए गए हैं। सभी चिकित्सा इकाईयों में ईसीजी मशीन, कार्डिक मॉनिटर, डिफेब्रिलेटर सहित सभी दवाईयां उपलब्ध हैं।
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ये सुविधाएं भी हैं उपलब्ध
जानकीचट्टी से यमुनोत्री धाम तक पैदल मार्ग पर प्रत्येक एक किलोमीटर पर पांच फर्स्ट मेडिकल रिस्पांस टीम (एफएमआर) तैनात की गई हैं। इनकी संख्या बढ़ाई जाएगी। ब्रह्माखाल से लेकर गंगोत्री धाम तक दस स्थायी चिकित्सा इकाईयां उपलब्ध हैं। इनके अलावा यात्रा मार्ग पर तीन फर्स्ट मेडिकल रिस्पांस टीम भी तैनात हैं। तीर्थ यात्रियों के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हर्षिल में आईसीयू की सुविधा उपलब्ध की गई है। जानकीचट्टी में कार्डिक एंबुलेंस की तैनाती कर दी गई हैं। रुद्रप्रयाग जिले में केदारनाथ यात्रा मार्ग पर आठ स्थायी चिकित्सा इकाईयों व 14 अस्थायी मेडिकल रिलीफ पोस्टों पर सभी स्वास्थ्य व्यवस्थाएं व पर्याप्त एंबुलेंस उपलब्ध कराई गई हैं। उन्होंने कहा कि यात्रा मार्गों पर तीर्थ यात्रियों को स्वास्थ्य संबंधी दिक्क्तें न हों, इसके लिए स्वास्थ्य महानिदेशक को स्वास्थ्य व्यवस्थाओं की लगातार मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए गए हैं।
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