Uttarakhand: साइबर ठग अब आधार कार्ड के जरिए बैंक से निकाल रहे रकम, पुलिस ने जारी की एडवाइजरी..
Cyber police issued advisory : साइबर ठगी में आपका आधार कार्ड भी आपके बैंक खाते के खाली होने की वजह बन सकता है। लोगों के आधार नंबर पता कर फिंगर प्रिंट की नकल बनाकर साइबर ठग बैंक खातों से रकम निकाल रहे हैं। साइबर ठगों ने यह नया तरीका निकाला है। बता दे हरियाणा और मुरादाबाद में इस तरह के मामले सामने आने के बाद उत्तराखंड साइबर पुलिस ने प्रदेश के लोगों के लिए भी एडवाइजरी जारी करते हुए सावधान रहने की अपील की है। साइबर ठगी करने वालों ने अब ठगने के लिए आधार कार्ड का जरिया खोज निकाला है। दरअसल अधिकतर लोगों के आधार कार्ड की फोटो कॉपी आसानी से पब्लिक डोमेन में मौजूद रहती है। कभी फोटो स्टेट की दुकान पर तो कभी सीएचसी सेंटर पर। इसके अलावा कई अन्य तरह की परिस्थितियां भी होती हैं। जिनमें आधार कार्ड की कॉपी पब्लिक डोमेन में है।
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साइबर पुलिस ने प्रदेश में जारी की एडवाइजरी | Cyber police issued advisory
इसी आधार कार्ड के नंबर से साइबर ठग UIDAI की बेवसाइट पर जाकर आपके आधार कार्ड की जानकारी और फिंगर प्रिंट को निकालते हैं। इसके बाद आर्टिफिशियल नकल फिंगर प्रिंट की तैयार करते हैं और उसकी मदद से किसी भी सीएच सेंटर या एटीएम से आपके खाते को खाली कर सकते हैं।
हालांकि उत्तराखंड में अभी इस तरह से ठगी का मामला सामने नहीं आया है। लेकिन अन्य राज्यों में हो रही साइबर ठगी को देखते हुए साइबर पुलिस ने प्रदेश में एडवाइजरी जारी करते हुए लोगों से सावधान रहने की अपील की है।
ये सावधानी रखें।
1. फोटो स्टेट की दुकान पर भूलवश भी फोटो स्टेट कॉपी न भूलें
2. अंजान व्यक्ति को अपने आधार कार्ड का नंबर न बताएं
3. खाते से रुपये कटते ही तुरंत 1930 पर कॉल कर शिकायत दर्ज करें, थान में भी शिकायत करें
अपना आधार बायोमेट्रिक डाटा ऐसे करें लॉक | Cyber police issued advisory
सबसे पहले UIDAI की बेवसाइट या फिर एम परिवहन एप को शुरू करें। शुरूआत में ही आधार कार्ड नंबर डालकर प्रक्रिया को आगे बढ़ाएं। आधार कार्ड से पंजीकृत मोबाइल नंबर पर आए वन टाइम पासवर्ड (ओटीपी) को दर्ज करें और आगे बढ़ें। इसके बाद सर्विसेज के विकल्प पर क्लिक करें। वहां ‘लॉक/अनलॉक बायोमेट्रिक’ के विकल्प को चुनें और अपना आधार बायोमेट्रिक डाटा लॉक कर सकते हैं।
साइबर ठगों ने नया तरीका निकाला है। ठगों को इस प्रक्रिया में किसी भी तरह के ओटीपी या बैंक डिटेल की भी जरूरत नहीं पड़ती। ऐसे में लोगों को भी जागरूकता से काम लेना होगा। किसी भी ऐप पर पढ़ें आधार जानकारी साझा न करना और ठगी होने पर तुरंत शिकायत करें।
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