उत्तराखंडः ऐसे कैसे पढ़ेंगे छात्र! शिक्षा सत्र शुरू होने के 18 दिन बाद भी नहीं मिलीं किताबें..

Books not received even after 18 days of start of education session. Hillvani News
उत्तराखंड के सरकारी और अशासकीय स्कूलों के छात्र-छात्राओं को शिक्षा सत्र शुरू होने के 18 दिन बाद भी मुफ्त किताबें नहीं मिलीं। ऐसे हालात में शिक्षकों को एनसीईआरटी की वेबसाइट देखकर पढ़ाने की सलाह दी गई है। सरकारी और अशासकीय स्कूलों के कक्षा एक से 12वीं तक के सभी छात्र-छात्राओं को शिक्षा सत्र शुरू होने पर एक अप्रैल से मुफ्त किताबें मिलनी चाहिए थीं, लेकिन विभागीय अधिकारियों की लेटलतीफी के चलते ऐसा हो न सका। उत्तराखंड विद्यालयी शिक्षा परिषद की सचिव डॉ. नीता तिवारी की ओर से सभी मुख्य शिक्षा अधिकारियों को दिए निर्देश में कहा गया है कि राज्य में एनसीईआरटी की पाठ्य पुस्तकें लागू हैं।
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एनसीईआरटी के निर्णय के आलोक में उत्तराखंड में भी 10वीं और 12वीं स्तर पर विभिन्न विषयों की पाठ्य सामग्री को रेशनलाइज करने का निर्णय लिया गया है। वर्तमान में इसकी प्रक्रिया चल रही है, जिसके बाद विभिन्न विषयों की रेशनलाइज पाठ्य सामग्री उपलब्ध कराई जाएगी। तब तक छात्र-छात्राओं को पढ़ाने के लिए एनसीईआरटी की ओर से सत्र 2023-24 के लिए निर्धारित पाठ्य सामग्री का अवलोकन उसकी वेबसाइट पर जाकर कर सकते हैं। आपको बता दें कि प्रदेश में करीब 11 लाख छात्र-छात्राओं को मुफ्त किताबें मिलनी हैं। नियमानुसार एक अप्रैल तक किताबें मिल जानी चाहिए थीं।
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शिक्षा मंत्री डा.धन सिंह रावत का कहना है कि अगले साल से इस तरह की दिक्कत न हो इसके लिए हर स्कूल में बुक बैंक बनाए जाएंगे। वहीं शिक्षा महानिदेशक बंशीधर तिवारी का कहना है कि स्कूलों में छात्र-छात्राओं को मिलने वाली मुफ्त किताबों की सप्लाई शुरू हो गई है, मई महीने तक सभी छात्र-छात्राओं को किताबें मिल जाएंगी, पाठ्यसामग्री के लिए शिक्षक खुद ही वेबसाइट देख लेते हैं।
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