क्या टल सकते हैं विधानसभा चुनाव? आयोग ने केंद्र से ओमिक्रोन पर मांगी रिपोर्ट। जनवरी में फिर होगी बैठक..

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अगले साल होने वाले उत्तराखंड सहित 5 राज्यों के विधानसभा चुनावों को लेकर आज कोई फैसला नहीं हो सका है। चुनावों को लेकर आज सोमवार को स्वास्थ्य मंत्रालय और चुनाव आयोग की एक अहम बैठक हुई। इसमें देश में कोरोना की स्थिति को लेकर चर्चा हुई हालांकि बैठक में चुनावों टालने या नहीं टालने पर कोई फैसला नहीं हो सका। बताया जा रहा है कि आयोग ने केंद्र सरकार से ओमिक्रॉन को लेकर रिपोर्ट मांगी है। इसके बाद जनवरी के पहले हफ्ते में एक बार फिर से आयोग और स्वास्थ्य मंत्रालय के बीच बैठक होगी। दरअसल आपको बता दें कि कोरोना का नया ओमिक्रॉन वैरिएंट तेजी से पैर पसार रहा है। देश में अब तक ओमिक्रॉन के 578 मरीज सामने आ चुके हैं। वहीं कई राज्यों में संक्रमण फिर से बढ़ने लगा है। ऐसे में 5 राज्यों के चुनावों पर रोक लगाने की मांग भी उठने लगी है।

आपको बता दें कि पिछले हफ्ते इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को राजनीतिक रैलियों पर रोक लगाने और चुनाव टालने का सुझाव दिया था। वहीं सुप्रीम कोर्ट में भी पांचों राज्यों में रैलियों पर रोक लगाने की मांग वाली याचिका दायर हुई है। इन्हीं सबको देखते हुए आज सोमवार को स्वास्थ्य मंत्रालय और चुनाव आयोग की बैठक हुई। इस बैठक में स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण मौजूद रहे। करीब एक घंटे से भी ज्यादा लंबी चली इस बैठक में आयोग ने देश में कोरोना की स्थिति का जायजा लिया। बताया जा रहा है कि आयोग ने राजेश भूषण से चुनाव प्रचार, वोटिंग और काउंटिंग के लिए कोविड प्रोटोकॉल पर सुझाव मांगे हैं।

अगले साल फरवरी-मार्च में होने हैं चुनाव
उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, मणिपुर और गोवा में फरवरी और मार्च में विधानसभा चुनाव होने हैं। मार्च में इन पांचों राज्यों की विधानसभा का कार्यकाल पूरा हो रहा है. उससे पहले विधानसभा चुनाव कराना जरूरी है। हालांकि ओमिक्रॉन के खतरे के बीच चुनाव टाले जाने की मांग भी तेज हो गई है। अगर कोरोना के हालात के चलते चुनावों को टालने का फैसला लिया जाता है तो इन राज्यों में विधानसभा का कार्यकाल खत्म होने के बाद राष्ट्रपति शासन लागू हो जाएगा।
अभी देश में ओमिक्रॉन के 578 मामले
स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक देश में अब तक ओमिक्रॉन के 578 मामले सामने आ चुके हैं। इनमें से 151 ठीक भी हो चुके हैं। चुनावी राज्यों में से यूपी में अब तक 2 मामले सामने आए हैं और दोनों ही ठीक हो गए हैं। वहीं उत्तराखंड में एक मामला सामने आया है। जबकि पंजाब, गोवा और मणिपुर में एक भी केस नहीं आया है।

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